मत्ती 27:32-37
Hindi Bible: Easy-to-Read Version
यीशु का क्रूस पर चढ़ाया जाना
(मरकुस 15:21-32; लूका 23:26-39; यूहन्ना 19:17-19)
32 जब वे बाहर जा ही रहे थे तो उन्हें कुरैन का रहने वाला शिमौन नाम का एक व्यक्ति मिला। उन्होंने उस पर दबाव डाला कि वह यीशु का क्रूस उठा कर चले। 33 फिर जब वे गुलगुता (जिसका अर्थ है “खोपड़ी का स्थान।”) नामक स्थान पर पहुँचे तो 34 उन्होंने यीशु को पित्त मिली दाखरस पीने को दी। किन्तु जब यीशु ने उसे चखा तो पीने से मना कर दिया।
35 सो उन्होंने उसे क्रूस पर चढ़ा दिया और उसके वस्त्र पासा फेंक कर आपस में बाँट लिये। 36 इसके बाद वे वहाँ बैठ कर उस पर पहरा देने लगे। 37 उन्होंने उसका अभियोग पत्र लिखकर उसके सिर पर टाँग दिया, “यह यहूदियों का राजा यीशु है।”
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मत्तियाह 27:32-37
Saral Hindi Bible
क्रूस-मार्ग पर येशु
(मारक 15:21-24; लूकॉ 23:26-31; योहन 19:17)
32 जब वे बाहर निकले, उन्हें शिमोन नामक एक व्यक्ति, जो कुरैनवासी था, दिखाई दिया. उन्होंने उसे येशु का क्रूस उठा कर चलने के लिए मजबूर किया. 33 जब वे सब गोलगोथा नामक स्थल पर पहुँचे, जिसका अर्थ है खोपड़ी का स्थान, 34 उन्होंने येशु को पीने के लिए दाखरस तथा कड़वे रस का मिश्रण दिया किन्तु उन्होंने मात्र चख कर उसे पीना अस्वीकार कर दिया.
35 येशु को क्रूसित करने के बाद उन्होंने उनके वस्त्रों को आपस में बांट लेने के लिए पासा फेंका 36 और वहीं बैठ कर उनकी चौकसी करने लगे. 37 उन्होंने उनके सिर के ऊपर दोषपत्र लगा दिया था, जिस पर लिखा था: “यह येशु है—यहूदियों का राजा.”
Read full chapter© 1995, 2010 Bible League International
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